शनि लोक कहलाएगा, इसके बदलाव की शुरुआत हो गई हैं। खास बात ये हैं की 'शनि लोक' का तोरण द्वार नागर शैली में बनाया जायेगा। इसकी डिजाइन फाइनल होकर राशि भी जारी हो गई हैं। तो वहीं राजस्थान यहां भी याद किया जायेगा क्योंकि जिस पत्थर का इस्तेमाल अयोध्या के राम मंदिर में हुआ हैं, वही पत्थर यहां लगाया जाएगा। अयोध्या सहित देश के कई मंदिर को डिजाइन करने वाले ख्यातिनाम चंद्रकांत बी. सोमपुरा ने ही इस शनि लोक का डिजाइन तैयार किया हैं। उत्तर भारतीय नागर शैली में इसे सोमपुरा के सुपुत्र आशीष सोमपुरा तैयार करवाएंगे। मुरैना शनिश्चरा मंदिर का डिजाइन त्रिद्वार शैली में हैं। जिसमें उनकी कथा आदि का समावेश किया जायेगा। बता दें की ऐती स्थित शनि मंदिर त्रेता युग का हैं। जीर्णोद्धार सम्राट विक्रमादित्य ने करवाया था। मंदिर की व्यवस्था के लिए दौलतराव सिंधिया ने मंदिर को जागीर भेंट की थी। जिला पुरातत्व अधिकारी अशोक शर्मा के अनुसार मंदिर परिसर में रखी शिला का ही एक हिस्सा औरंगाबाद के एक भक्त अपने साथ ले गए थे, जो औरंगाबाद से शनि शिंगणापुर पहुंची और उसकी देश भर में अलग ख्याति हैं। आपको जानकर खुशी होगी कि
शनि अमावस्या पर औसत 5 लाख और हर शनिवार को 25 हजार भक्त शनिचरा आते हैं। एसडीएम एवं मदिर प्रबंधक बीएस कुशवाह ने बताया की शनि अमावस्या पर 4 हजार लीटर सरसों का तेल शनि मंदिर पर चढ़ाया जाता है।

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