शिवपुरी। पोहरी अनुभाग की बैराड़ नगर परिषद के ग्राम कालामढ़ की बेशकीमती करीव 150 बीघा शासकीय जमीन को खुर्दबुर्द कर बेचने के आरोप में आज इओडब्ल्यू ग्वालियर की टीम ने शिवपुरी के विशेष न्यायालय में 18 लोगो के खिलाफ चालान प्रस्तुत किया। इस मामले की शिकायत 2009 में की गयी थी और 2012 में धारा 420, 409, 120 सहित कई गंभीर धाराओं के तहत एफआईआर दर्ज हुई थी। जांच के नाम पर करीव 11 साल बाद अब चालान प्रस्तुत किया गया। जब नगर परिषद नही बनी थी, तब ग्रामपंचायत कालामढ़ की 150 बीघा जमीन जो वनग्राम, स्कूल, कालेज, पीएम हाउस, चरनोई के लिए आरक्षित थी को तत्कालीन सरपंच, सचिव, नायाब तहसीलदार, तहसीलदार, एसडीएम, राजस्व निरीक्षक, पटवारी सहित कुछ अन्य लोगो ने कागजो में हेराफेरी कर जमीन बेचने का काम किया था। शुरू में लक्ष्मण व्यास और एफआईआर के बाद स्थानीय आरटीआई एक्टिविस्ट माखन धाकड़ ने इस मामले को जिंदा रखा और 6 अप्रैल 2023 को राज्यपाल के निर्देश पर अब ईओडब्ल्यू ने अंततः चालान पेश किया। इस प्रकरण में 2016,19,23 में अभियोजन स्वीकृति प्राप्त हो पाई थी और शायद इसी वजह से चालान में देरी हुई।
ये है आरोपी -
रामबाबू सिंदोसकर तत्कालीन तहसीलदार व एसडीएम, वर्तमान में एडीएम दतिया
शैलेन्द्र राय वर्तमान में तहसीलदार विदिशा
साहिर खान तहसीलदार अशोकनगर
हाकिम सिंह नायाब तहसीलदार टीकमगढ़
घनश्याम वर्मा पटवारी
रामवरण पावक समन्वयक अधिकारी, जनपद पंचायत भिंड
योगेंद्र बाबू शुक्ला राजस्व निरीक्षक
जयवरण सिंह गुर्जर सेनि. नायाब तहसीलदार
जगदीश श्रीवास्तव सेनि आरआई
प्रेमनारायण श्रीवास्तव पटवारी
मालती रावत अध्यक्ष नगर परिषद बैराड़
विमला ओझा
रामकुमार ओझा
अनिल ओझा
गायत्री ओझा
बद्री ओझा
लक्ष्मण रावत, तत्कालीन सरपंच व नगर परिषद अध्यक्ष पति
5 आरोपी हटाये- दो तत्कालीन आरआई साक्ष्य न होने के कारण ओर दो पटवारियों को मौत हो जाने के कारण ओर एक सेनि एसडीएम नन्दकिशोर वीरवाल को विभागीय स्वीकृति न मिलने के कारण चालान में शामिल नही किया गया।
सभी आरोपियों को नोटिस तामिल कराए गए थे लेकिन न्यायालय में कोई भी आरोपी नही पहुंचा। अब न्यायालय से इन सभी के खिलाफ संभवतः गिरफ्तारी वारंट जारी किए जाएंगे
इनका कहना है- आज माननीय न्यायालय में 2012 में हुई एफआईआर में चालान पेश कर दिया गया है जिसमे राजस्व के अधिकारी कर्मचारी, नगर परिषद बैराड़ की अध्यक्ष सहित कुल 18 लोगो को आरोपी बनाकर चालान पेश किया है।
यशवंत गोयल निरीक्षक ईओडब्ल्यू ग्वालियर
इनका कहना है - 2012 से लेकर अब तक इस मामले में तमाम अधिकारी, न्यायालय, राज्यपाल तक पत्राचार किया और अब सफलता मिली है और इस मामले में चालान पेश हो गया है।
माखन धाकड़ आरटीआई एक्टिविस्ट बैराड़।

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