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#धमाका खास खबर: "वृद्ध आश्रम" में रहने वाले "ओम प्रकाश विरमानी" ने ली "अंतिम सांस", "वार्डन राखी" ने "मुखाग्नि" देकर निभाया "सच्चे रिश्ते का फर्ज"

मंगलवार, 28 जनवरी 2025

/ by Vipin Shukla Mama
शिवपुरी। दुनिया में रिश्तों की डोर लगातार कमजोर होती जा रही है, जिसके नतीजे में निराश्रित भवन, वृद्धाश्रम में वृद्धजन रहने को मजबूर हैं। आज की खबर शिवपुरी के अस्पताल चौराहा स्थित कल्याणी धर्मशाला के मंगलम संचालित वृद्ध आश्रम की है। यहां कई वृद्ध जीवन बसर कर रहे हैं। इनमें से कुछ के अपने काबिल, दक्ष, धनवान भी हैं लेकिन वाबजूद इसके वृद्ध इस आश्रम में रहने को मजबूर हैं। आज का दिन इस वृद्धाश्रम के लिए अत्यंत भावुक और मार्मिक था।यहां आश्रम में रहने वाले श्री ओम प्रकाश विरमानी, जिन्हें सभी प्यार से पप्पू जी कहकर बुलाते थे, उनका आकस्मिक निधन हो गया। अब बारी थी अंतिम यात्रा और अंत्येष्टि की।
ये देख अन्य सभी वृद्ध साथी भावुक दिखाई दे रहे थे लेकिन उनके मन की शंका तब जाती रही जब वृद्ध आश्रम की वार्डन श्रीमती राखी सैन ने स्वर्गीय ओम प्रकाश जी के प्रति अपनाऐसा स्नेह और समर्पण दिखाया जो आज के समय में दुर्लभ है, उनका खून का रिश्ता भी नहीं था, लेकिन उन्होंने ओम प्रकाश की देखरेख अपने सगे भाई के समान की थी। यह सिर्फ देखरेख तक सीमित नहीं रहा, बल्कि उनके दुख-सुख का हिस्सा बनकर, हर पल उनके साथ खड़ी रहीं। यही कारण रहा कि आज वे ओम प्रकाश जी के अंतिम संस्कार के समय उनके साथ न सिर्फ मुक्तिधाम पहुंची बल्कि राखी ने ही उन्हें मुखाग्नि दी। यह क्षण इतना भावुक था कि वहां उपस्थित हर व्यक्ति की आंखें नम हो गईं। यह दृश्य आज के समाज को एक गहरी सीख देता है कि रिश्ते खून से नहीं, बल्कि प्यार और कर्तव्य से बनते और निभाए जाते हैं। आज के दौर में जहां खून के रिश्ते भी कमजोर पड़ रहे हैं, वहां वार्डन ने भाई-बहन के पवित्र बंधन को नए आयाम दिए। उन्होंने साबित कर दिया कि सच्चे रिश्ते निभाने के लिए दिल में सेवा, करुणा और समर्पण होना चाहिए। उनके इस निस्वार्थ कार्य ने वहां मौजूद सभी लोगों को गहराई तक प्रभावित किया। धमाका टीम श्रीमती राखी सैन की इस महान सेवा भावना और मानवीयता को नमन करती है। ईश्वर से प्रार्थना है कि उन्हें दीर्घायु प्रदान करे और इसी तरह वृद्धजनों की सेवा और उनके जीवन में प्रेम और स्नेह की रोशनी बिखेरने की शक्ति देती रहे। ओम प्रकाश जी की अंतिम यात्रा में पंजाबी परिषद के प्रतिष्ठित सदस्य, वृद्ध आश्रम के पदाधिकारी और कार्यकर्ता शामिल हुए, जिनके दिल में सिर्फ शोक ही नहीं, बल्कि एक रिश्ते की अनूठी मिसाल के प्रति सम्मान भी झलक रहा था।
#सेवा_की_मिसाल #निस्वार्थ_प्रेम #समर्पण #सच्चे_रिश्ते।










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