* चौथे चरण में सभी शासकीय हाई स्कूल उमावि में प्रशिक्षण लेंगे शेष बचे शिक्षक
ग्वालियर। कॉमन योगा प्रोटोकॉल में शीतली प्राणायाम को शामिल किया गया है। गर्मी के मौसम मे हीट स्ट्रोक, सनबर्न और निर्जलीकरण जैसी समस्याएं होती हैं। ऐसे में खुद को गर्मी से बचाने और शरीर को ठंडा रखने के लिए शीतली प्राणायाम का सहारा लिया जा सकता है। शीतली प्राणायाम और शीतकारी प्राणायाम से पित्त दोष से उत्पन्न होने वाले अनेक रोगों -भूख-प्यास ना लगना, लू लग जाना, मुंह सुखना, बेचैनी घबराहट, वायु गोला तथा अफरा आदि में लाभ होता है। इसके द्वारा उच्च रक्तचाप से भी मुक्ति मिल जाती है यह प्राणायाम कफ रोगी वालों के लिए हितकर नहीं है। ये प्राणायाम योगाभ्यास के बाद करना चाहिए। उपरोक्त उदगार जिला योग प्रभारी दिनेश चाकणकर ने भारतीय यात्रा एवं पर्यटन प्रबंधन संस्थान आईआईटीटीएम में आयोजित माध्यमिक विद्यालय के योग शिक्षको को कॉमन योगा प्रोटोकॉल प्रशिक्षण के समापन अवसर पर कहे। श्री चाकणकर ने कहा कि शीतली प्राणायाम मस्तिष्क में होने वाले उथल-पुथल को दूर कर दिमाग को शांत रखता है तथा भावनात्मक उत्तेजना और मन की चंचलता कम करता है।पाचन तंत्र को मजबूत बनाता है।दिल के रोगों से बचाने में मदद करता है। इससे पूर्व विकासखंड योग प्रभारी मुन्ना सिंह परिहार,गोविंद मेहरोत्रा,राज नारायण शर्मा, पूर्णिमा कुशवाह साधना पुरोहित, हेमलता राठौड़ ने कॉमन योगा प्रोटोकॉल का अभ्यास कराया।डबरा में जिला योग समिति के अध्यक्ष श्री जयदयाल शर्मा तथा भितरवार में विकासखंड योग प्रभारी महेश सिंह बाथम द्वारा प्रशिक्षण दिया गया प्रशिक्षण के समापन के उपरान्त ग्वालियर, डबरा तथा भितरवार में योग जागरुकता रेली भी निकाली गई । जिला शिक्षा अधिकारी श्री अजय कटियार ने बताया कि अब 16 और 17 जून को जिले के सभी शासकीय हाईस्कूल, उमावि में प्रशिक्षण आयोजित किया जाएगा जिसमें शेष बचे सभी शासकीय शिक्षक, स्टाफ, विद्यार्थी तथा अशासकीय विद्यालयों के एक एक शिक्षक को प्रशिक्षित किया जाएगा।